मथुरा टुडे ब्यूरो
कयासों के बाद आखिरकार वह दिन आ ही गया जब रालोद प्रमुख जयंत चौधरी ने एनडीए में शामिल होने की आधिकारिक घोषणा कर दी।
हालांकि पूर्व प्रधानमंत्री चौधरी चरणसिंह को भारत रत्न सम्मान मिलने के साथ ही यह लगभग तय हो गया था कि रालोद भी अब एनडीए का घटक दल होने जा रहा है साथ ही सीधे तौर पर न सही लेकिन जयंत चौधरी ने भी बड़े ही भावुक लहजे में एनडीए में जाने वाले सवाल पर सिर्फ इतना भर कहा था कि अब किस मुंह से इंकार कर सकता हूँ।
राजनीति में हर शब्द के मायने होते हैं लेकिन जयन्त ने तो पूरा वाक्य बोल दिया था जिसका संदेश एकदम साफ था लेकिन सीटों के बंटबारे के बीच अधिकारिक घोषणा अभी बाकी थी लिहाजा हर किसी को इस घोषणा का इंतजार था।
सोमवार को यह इंतजार भी समाप्त हो गया और रालोद मुखिया जयंत चौधरी ने एनडीए में शामिल होने की अधिकारिक घोषणा कर दी।
जयंत के इस निर्णय के बाद माना जा रहा है कि पश्चिमी यूपी में चुनावी मौसम कुछ करवट ले सकता है। हालांकि राजनितिक विशेषज्ञों के मुताबिक इसमें कोई संशय की बात नहीं कि राम मन्दिर निर्माण के बाद हुए परिवर्तन के बाद इस गठबंधन से होने वाला परिवर्तन ऊंट के मुंह में जीरे के समान ही होगा लेकिन इतना तय है कि हारजीत में कोई विशेष अन्तर दिखे अथवा न दिखे लेकिन एनडीए को मिलने वाले वोट प्रतिशत में अन्तर अवश्य नजर आयेगा।